Home » Upcoming Events » Sawan Second Monday Fast 2022
 

Upcoming Festival-Sawan Second Monday Fast 2022

 

Sawan Second Monday Fast 2022 Date

July 25, 2022 - Monday

Sawan Second Monday Fast will be Celebrated on 25th July 2022

Sawan Month Mondays are very auspicious and fast kept on these Mondays are very fruitful. Sawan month is dedicated to Lord Shiva. Amarnath Yatra, Kawad Yatra, Shravan Monday Fasts, Full Sawan Fasts are major Shiv Pooja related activities take place in this month. 

To Observe Sawan Monday Fast In the morning after taking bath do puja in Shiv Temple or at home. Do puja of Shiva-Parvati with Ganesha and Nandi. Offer Water, Milk, Curd, Honey, Ghee, Sugar, Moli, Roli, Janeu, Belpatra, Bhang, Dhtura, Dhoop, Lamp and donations. Along with these grass or round ball of atta with sugar inside it can be offered for Nandi. In the evening do Puja with Ghee, Kapur and Gugle, and recite Shiv Arti. This method is followed for all Monday fasts of Sawan Month. Married woman get good luck as result of this fast. Students get knowledge and wisdom as result of Shravan Monday fasts. All get peace and prosperity as result of this fast. 

श्रावण मास के समस्त सोमवारों के दिन व्रत करने से पूरे साल भर के सोमवार व्रत का पुण्य मिलता है। सोमवार के व्रत के दिन प्रातःकाल ही स्नान ध्यान के उपरांत मंदिर देवालय या घर पर श्री गणेश जी की पूजा के साथ शिव-पार्वती और नंदी की पूजा की जाती है। इस दिन प्रसाद के रूप में जल , दूध , दही , शहद , घी , चीनी , जनेऊ ,चंदन , रोली , बेल पत्र , भांग , धतूरा , धूप , दीप और दक्षिणा के साथ ही नंदी के लिए चारा या आटे की पिन्नी बनाकर भगवान पशुपतिनाथ का पूजन किया जाता है। रात्रिकाल में घी और कपूर सहित गुगल, धूप की आरती करके शिव महिमा का गुणगान किया जाता है। 

लगभग श्रावण मास के सभी सोमवारों को यही प्रक्रिया अपनाई जाती है। सुहागन स्त्रियों को इस दिन व्रत रखने से अखंड सौभाग्य प्राप्त होता है। विद्यार्थियों को सोमवार का व्रत रखने से और शिव मंदिर में जलाभिषेक करने से विद्या और बुद्धि की प्राप्ति होती है। बेरोजगार और अकर्मण्य जातकों को रोजगार तथा काम मिलने से मानप्रतिष्ठा की प्राप्ति होती है। सदगृहस्थ नौकरी पेशा या व्यापारी को श्रावण के सोमवार व्रत करने से धन धान्य और लक्ष्मी की वृद्धि होती है। प्रौढ़ तथा वृद्ध जातक अगर सोमवार का व्रत रख सकते हैं, तो उन्हें इस लोक और परलोक में सुख सुविधा और आराम मिलता है। 

सोमवार के व्रत के दिन गंगाजल से स्नान करना और देवालय तथा शिव मंदिर में जल चढ़ाया जाता है। आज भी उत्तर भारत में कांवड़ परम्परा का बोलबाला है। श्रद्धालु गंगाजल लाने के लिए हरिद्वार , गढ़ गंगा और प्रयाग जैसे तीर्थो में जाकर जलाभिषेक करने हेतु कांवड़ लेकर आते हैं। यह सब साधन शिवजी की कृपा प्राप्त करने के लिए है। आज के इस पापमय और पतित संस्कारों की दुनिया में अगर श्रावण सोमवार के व्रत रखते हुए भगवान शिव से माफी मांग ली जाए तो उस आशुतोष भगवान की औघड़दानी कृपा दृष्टि से पाप नष्ट होंगे।